नई दिल्ली. मध्यप्रदेश ने रणजी (Ranji Trophy 2022) के फाइनल मैच में रविवार को इतिहास रच दिया है. बेंगलुरू के एम चिन्नास्वामी स्टेडियम में खेले गए फाइनल मुकाबले में मध्यप्रदेश ने मुंबई को 6 विकेट से हरा दिया है. मुंबई को हराकर मध्यप्रदेश ने पहली बार रणजी ट्राफी का खिताब अपने नाम किया है. बता दें कि इससे पहले 1999 में मध्यप्रदेश चंद्रकांत पंडित की कप्तानी में फाइनल में पहुंचने में सफल रही थीं. हालांकि उस दौरान कर्नाटक ने 96 रनों से मध्यप्रदेश को फाइनल मुकाबले में शिकस्त दी थी.
इस खबर में ये है खास-
- पहली पारी मुंबई ने बनाए 374 रन
- मध्य प्रदेश को 108 रन का मिला था लक्ष्य
- MP रणजी जीतने वाली 20वीं टीम बनी
पहली पारी मुंबई ने बनाए 374 रन
मुंबई की टीम ने रणजी ट्रॉफी के फाइनल मुकाबले में टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी करने का फैसला किया. जिसके बाद मुंबई ने पहली पारी में 374 रन बनाए थे. इसके जवाब में मध्य प्रदेश ने इसके जवाब में मध्यप्रदेश ने 536 रन का बड़ा स्कोर खड़ा किया. दूसरी पारी में में मुंबई की टीम ने 269 रन बनाए. मुंबई की ओर से दूसरी पारी सबसे ज्यादा रन सुवेद पारकर ने 51 रन बनाए.
मध्य प्रदेश को 108 रन का मिला था लक्ष्य
मध्यप्रदेश के सामने मैच की चौथी पारी में 108 रन का लक्ष्य था. इधर मध्यप्रदेश की ओऱ गेंदबाजी करते हुए कुमार कार्तिकेय ने सबसे ज्यादा 4 विकेट चटकाए हैं. मध्यप्रदेश की टीम लक्ष्य का पीछा करते हुए छह विकेट खोकर हासिल कर लिया.
MP रणजी जीतने वाली 20वीं टीम बनी
दूसरी पारी में एमपी की ओर से हिमांशु मंत्री ने सबसे ज्यादा 37 रनों का योगदान दिया, जबकि शुभम शर्मा और रजत पाटीदार ने 30-30 रन बनाए हैं. इसके साथ ही मध्यप्रदेश रणजी टॉफी जीतने वाली 20वी टीम बनी.
